
दुमका। सोमवार को विश्वविद्यालय के कुलपति सभागार में परीक्षा बोर्ड की एक महत्वपूर्ण बैठक का आयोजन किया गया, जिसकी अध्यक्षता कुलपति प्रो. कुनुल कंदीर ने की। बैठक में विश्वविद्यालय के प्रशासनिक और शैक्षणिक कार्यों से जुड़े कुल 15 एजेंडों पर विस्तार से चर्चा हुई और कई अहम निर्णय लिए गए। इसमें प्रतिकुलपति, विभिन्न संकायों के डीन, परीक्षा नियंत्रक एवं समिति के सदस्यगण मौजूद रहे।
बैठक का सबसे महत्वपूर्ण निर्णय विश्वविद्यालय में पीएचडी नामांकन प्रक्रिया को शीघ्र प्रारंभ करने को लेकर लिया गया। लंबे समय से रुकी हुई इस प्रक्रिया के कारण कई योग्य छात्र शोध कार्य से वंचित थे। बैठक में सर्वसम्मति से तय किया गया कि पीएचडी सेक्शन को पूरी प्रक्रिया संचालित करने की जिम्मेदारी सौंपी जाएगी। पहले चरण में सभी स्नातकोत्तर विभागों से अद्यतन शोध निदेशक सूची और रिक्त सीटों की जानकारी मांगी जाएगी। पूरी नामांकन प्रक्रिया यूजीसी की 2022 की गाइडलाइन के अनुरूप पारदर्शी और न्यायसंगत तरीके से संचालित होगी।
यह निर्णय उन छात्रों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, जो वर्षों से पीएचडी के नामांकन की प्रतीक्षा कर रहे थे। विशेष रूप से नेट और जेआरएफ उत्तीर्ण छात्रों की लगातार मांग को ध्यान में रखते हुए विश्वविद्यालय प्रशासन ने यह फैसला लिया है। अनुमान है कि इस बार लगभग सभी विषयों में पर्याप्त सीटें उपलब्ध होंगी, क्योंकि 2022 के बाद नियुक्त सहायक प्राध्यापक अब शोध निर्देशन के योग्य हो गए हैं।
बैठक में परीक्षा प्रक्रिया से जुड़े नियमों में भी बदलाव किया गया। निर्णय लिया गया कि परीक्षा फॉर्म भरने की अंतिम तिथि गुजरने के बाद अब केवल ऑनलाइन माध्यम से ही फॉर्म स्वीकार किए जाएंगे, वह भी परीक्षा शुरू होने से कम-से-कम सात दिन पहले तक। अब तक छात्रों को अंतिम समय में ऑफलाइन फॉर्म भरने की छूट मिलती थी, जिससे परीक्षा विभाग पर अनावश्यक दबाव पड़ता था। नई व्यवस्था से प्रक्रिया अधिक तकनीक-सम्मत, पारदर्शी और समयबद्ध होगी।
इसके अतिरिक्त, छात्रों द्वारा परीक्षा विभाग में प्रस्तुत विभिन्न आवेदनों पर भी विचार किया गया। कई मामलों में नियमों के तहत छात्रों को राहत दी गई और परीक्षा नियंत्रक कार्यालय को आवश्यक निर्देश जारी किए गए।
इस बैठक में प्रतिकुलपति प्रो. बिमल प्रसाद सिंह, डीन स्टूडेंट वेलफेयर डॉ. जैनेन्द्र यादव, परीक्षा नियंत्रक डॉ. जयकुमार शाह, सामाजिक विज्ञान एवं वाणिज्य संकायाध्यक्ष डॉ. टीपी सिंह, मानविकी संकायाध्यक्ष डॉ. पीपी सिंह, विज्ञान संकायाध्यक्ष डॉ. संजय कुमार सिंह, रजिस्ट्रार डॉ. राजीव कुमार, परीक्षा ओएसडी डॉ. इंद्रनील मंडल, जनसंपर्क पदाधिकारी दीपक कुमार सहित कई अधिकारी उपस्थित रहे।
परीक्षा नियंत्रक डॉ. जयकुमार शाह ने कहा कि बैठक में लिए गए निर्णयों को शीघ्र लागू किया जाएगा ताकि शिक्षण, शोध और परीक्षा प्रक्रिया में गुणवत्ता और समयबद्धता सुनिश्चित की जा सके।